मुजफ्फरपुर बालिका आश्रय गृह कांड में ब्रजेश सहित 19 दोषी

नई दिल्ली, 20 जनवरी (वार्ता/उपमा डागा पारथ) : बिहार के मुजफ्फरपुर स्थित बहुचर्चित बालिका आश्रय गृह कांड में दिल्ली की साकेत अदालत ने सोमवार को स्वयंसेवी संगठन के मालिक ब्रजेश ठाकुर सहित 19 आरोपियों को दोषी ठहराया है। इस मामले पर दोषियों की सज़ा पर 28 जनवरी को बहस होगी। साकेत अदालत में अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश सौरभ कुलश्रेष्ठ ने आज फैसला सुनाया। इस मामले में कुल 21 अभियुक्त थे। अदालत ने एक आरोपी को बरी कर दिया है। इस मामले में ठाकुर के अलावा बाल संरक्षा इकाई की तत्कालीन सहायक निदेशक रोजी रानी, तत्कालीन बाल संरक्षण पदाधिकारी रवि रोशन, बाल कल्याण समिति के पूर्व अध्यक्ष दिलीप वर्मा, सदस्य विकास कुमार, बालिका गृह कर्मचारी मीनू देवी, मंजू देवी, इंदु कुमारी, नेहा कुमारी, चंदा देवी, हेमा मसीह, किरण कुमारी,विजय कुमार तिवारी, गुड्डू कुमार पटेल, किशन राम उर्फ कृष्णा, डॉ अश्विनी उर्फ आसमानी, रामानुज ठाकुर, विक्की, रामाशंकर और साइस्ता परवीन उर्फ मधु शामिल हैं। मामले में 20 आरोपी जेल में हैं। टाटा सामाजिक विज्ञान संस्थान (टिस) की रिपोर्ट के आधार पर मई 2018 में यह मामला सामने आया और इसके बाद बाल संरक्षण इकाई के तत्कालीन सहायक निदेशक दिवेश कुमार शर्मा ने 31 मई 2018 को महिला थाने में मामला दर्ज कराया। सीबीआई के आरोप-पत्र में आरोपियों पर दुष्कर्म और बाल यौन शोषण रोकथाम अधिनियम (पॉक्सो) के तक आरोप लगाए।