सिख विरोधी दंगों की पुन: जांच से पीड़ितों में उम्मीद जगी : लौंगोवाल

संगरूर, 11 जनवरी (सत्यम्/अलका बांसल) : शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष भाई गोबिंद सिंह लौंगोवाल ने सुप्रीम कोर्ट द्वारा 1984 के सिख दंगों के केसों की दोबारा जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी गठित करने के लिए फैसले का खुले दिल से स्वागत किया गया। उन्होंने कहा कि करीब 35 वर्ष से इंसाफ का इंतजार कर रहे 1984 सिख विरोधी दंगों के पीड़ितों को सुप्रीम कोर्ट जल्द से जल्द इंसाफ देकर उनके जख्मों पर मरहम लगाए। भाई लौंगोवाल आज यहां ब्रिसबेन में नस्ली हिंसा का शिकार हुए मनमीत अलीशेर के घर पहुंची ब्रिसबेन कौंसिल की चेयरपर्सन एैंजीला ओवेन से मुलाकात के लिए पहुंचे हुए थे। उन्होंने इस फैसले को ऐतिहासिक करार देते सुप्रीम कोर्ट का धन्यावाद किया। भाई लौंगोवाल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा दोबारा जांच कमेटी बनाए जाने के सुनाए गए आदेश ने सिख विरोधी दंगों के पीड़ितों के मनों में एक बार फिर इंसाफ की किरन जगा दी है। ब्रिसबेन कौंसिल की चेयरपर्सन एैंजीला ओवेन से मुलाकात करने के बाद भाई लौंगोवाल ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए बताया कि ऑस्ट्रेलिया में रहते पंजाबी भाईचारे के लोगों को सुरक्षित करने तथा नस्ली भेदभाव से बचाने के लिए शिरोमणि गुरूद्वारा प्रबंधक कमेटी वहां की सरकार को जल्द ही लिखित रूप में भेज रही है। पी.आर.टी.सी. के पूर्व उप-चेयरमैन विनरजीत सिंह गोल्डी तथा मनमीत अलीशेर के भाई अमित अलीशेर ने बताया कि मनमीत अलीशेर को इंसाफ दिलाने के लिए एैंजीला ओवेन तथा ब्रिसबेन स्थित कार्यालय आगे हस्ताक्षर मुहिम शुरू की गई थी, जिसमें पंजाबी भाईचारे के साथ साथ वहां के लोगों ने भी हजारों की संख्या में हस्ताक्षर कर इंसाफ की मांग की है। मनमीत अलीशेर के पारिवारिक सदस्यों द्वारा ऑस्ट्रेलिया में मनमीत की याद स्थापित करने तथा उसकी मौत का केस उचित तरीके से चलाने हेतु ब्रिसबेन से पहुंचे शिष्टमंडल का धन्यवाद किया। इस मौके बाबू प्रकाश चंद गर्ग, मास्टर राम सरूप, प्रितपाल सिंह, सुपिन्द्र घुमाण, प्रिं. बलवीर सिंह, विजय कुमार भीखी, सोनू, हरप्रीत सिंह, प्रितपाल सिंह बिट्टू भी उपस्थित थे।