गांव की 596 एकड़ पंचायती भूमि पर अवैध कब्ज़ों ने सरकार को लगाया करोड़ों का चूना

बटाला, 16 फरवरी (काहलों) : चाहे राज्य सरकार द्वारा पंचायती व शामलाट ज़मीनों पर अवैध कब्ज़े हटाने के लिए अनेकों प्रयास किये गये हैं, परन्तु इन प्रयासों को दिखाई नहीं दे रहा तथा समय-समय की सरकारों के साथ सम्बन्धित लोगों द्वारा कथित राजनीतिक मिलीभगत के साथ कहीं न कहीं अवैध कब्ज़ों के समाचार मीडिया की सुर्खियां बने रहे हैं। कुछ ऐसा ही मामला गुरदासपुर ज़िले के गांव औलख कलां में भी सामने आया है, जहां पंचायत विभाग की सैकड़ों एकड़ भूमि पर कब्ज़ा कथित अवैध कब्ज़ाधारियों द्वारा कई वर्षों से सरकार पर पंचायती विभाग को करोड़ों रुपए का चूना लगाने की चर्चा है, जिसकी बात गांव के ही कुछ लोगों द्वारा माननीय हाईकोर्ट में गुहार लगाने के बाद माननीय अदालत के आए निर्देशों से सामने आई है और पंचायत विभाग भी गहरी नींद से जागा है। अब उक्त भूमि की निशानदेही के लिए एस.डी.एम. और 3 बी.डी.पी.ओ. पर आधारित कमेटी गठित की गई है।क्या है पूरा मामला : उक्त मामले सम्बन्धी जानकारी देते बसंत सिंह सेनिक और सोहन सिंह सेनिक निवासी औलख कलां ने बताया कि उन्होंने गांव की 35 एकड़ पंचायती भूमि ठेके पर लेने के लिए तिथि 7 जुलाई 2017 को डी.डी.पी.ओ. व अन्य अधिकारियों की उपस्थिति में नियमों के अनुसार बोली दी। इस मौके पर 116 एकड़ ज़मीन की बोली हुई थी, जिसमें से उन्हें 35 एकड़ ज़मीन प्लाट नंबर 5 (रकबा 11 एकड़ 4 कनाल) और प्लाट नंबर 7, 8 रकबा 22 एकड़ के लिए 19 हज़ार रुपये प्रति एकड़ के हिसाब से एक लाख 90 हज़ार रुपये तथा 3 लाख 30 हज़ार रुपये (30 फीसदी) अग्रिम रकम के तौर पर जमा करवा दी, जिसकी रसीद नं. 2110/12 प्राप्त कर ली और पहुंचे अधिकारियों ने हमें 35 एकड़ ज़मीन पर कृषि करने के लिए कह दिया व शेष 81 एकड़ ज़मीन विभिन्न किसानों ने ठेके पर ले ली। उन्होंने कहा कि हमारे द्वारा की गई 35 एकड़ ज़मीन में से पहले काश्तकारों द्वारा गन्ने की फसल काटी गई थी। हमने उस कमाद को ही खाद, पानी देकर अच्छी देखभाल से पाल लिया, परन्तु जब कमाद की कटाई का समय आया तो पहले कथित अवैध कब्ज़ाधारियों ने पुलिस की मिलीभगत से उसकी कटाई आरम्भ कर दी, जिसे हमने थाना श्री हरगोबिन्दपुर में शिकायत कर रुकवाया, परन्तु कथित राजनीतिक दबाव में 2 पुलिस अधिकारियों की बदली करवा कर अवैध कब्ज़ाधारियों ने कमाद की कटाई कर ली, जिस सम्बन्ध में हमने माननीय हाईकोर्ट का दरवाज़ा खटखटाया तो माननीय अदालत ने सम्बन्धित विभाग को कार्रवाई करने के लिए कहा। विभाग की नींद खुली तो एस.एस.पी. बटाला को कार्रवाई करने के लिए कहा गया और 12 व्यक्तियों के विरुद्ध मुकद्दमा नंबर. 95/17 धारा 379,447 दर्ज किया गया, परन्तु कोई कार्रवाई होने के अपेक्षा पुलिस ने उक्त व्यक्तियों से धारा 379 धारा भी समाप्त कर दी। उन्होंने कहा कि न तो हमारे द्वारा विभाग को जमा करवाई 5 लाख 20 हज़ार रुपए की राशि वापिस हुई है और न ही कोई कार्रवाई हुई है। परन्तु राजनीतिक दबाव वाले लोगों ने कई दशकों से 480 एकड़ कृषि योग्य भूमि पर कब्ज़ा करने के साथ-साथ पक्के घर भी बनाए गये हैं। उन्होंने मांग की है कि जहां हमारी रकम जुर्माने सहित वापिस करवाई जाए, वहीं सरकार व विभाग को करोड़ों का चूना लगाने वालों के विरुद्ध कार्रवाई भी हो।