जल्द ही हटेगी लंगर से जी.एस.टी. : हरसिमरत

नई दिल्ली, 21 मई (उपमा डागा पारथ): गुरुद्वारों के लंगर पर लगने वाला जी.एस.टी. जल्द ही हटा लिया जाएगा। नए टैक्स निजाम की तकनीकी व अन्य अटकलों को ध्यान में रखते हुए एक विशेष योजना चलाई जाएगी, जिसके तहत लंगर की वस्तुओं पर लगने वाला पूरा केन्द्रीय जी.एस.टी. रिफंड कर दिया जाएगा। ‘सेवा भोज’ नामक इस योजना के तहत एक अलग मंत्रालय को केन्द्रीय बजट से एक निश्चित फंड दिया जाएगा जहां शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी)जैसी संस्थाएं लंगर के दिए केन्द्रीय जी.एस.टी. का रिफंड ले सकेंगी। केन्द्रीय मंत्री व बठिंडा से सांसद हरसिमरत कौर बादल ने ‘अजीत समाचार’ के साथ विशेष भेंटवार्ता में यह जानकारी देते हुए कहा कि उन्होंने रविवार को ही इस योजना का फाइनल प्रारूप प्रधानमंत्री  कार्यालय को भेजा है। हरसिमरत कौर बादल ने आशा व्यक्त करते हुए कहा कि विभागीय स्टाफ व कानूनी बाधाओं के कारण इस योजना को वास्तविक रूप लेने में एक-दो माह का समय लग सकता है। उल्लेखनीय है कि लंगर से जी.एस.टी. हटाने के मुद्दे पर राजस्व बारे विभाग ने इसके दुरुपयोग को लेकर चिंता व्यक्त की थी, जिसके मद्देनज़र इस योजना के तहत रजिस्टर्ड करवाने वाले गुरुधामों की संस्थाएं कम से कम गत 5 वर्षों से इस अमल  (निष्काम सेवा) में होनी चाहिएं और संस्थाओं को अपने पैन व टैन नम्बर सहित अपनी रिटर्नों संबंधी दस्तावेज़ जमा करवाने होंगे। हरसिमरत कौर ने योजना बारे जानकारी साझा करते हुए कहा कि लंगर में उपयोग की जाने वाली वस्तुओं में से घी, चीनी, तेल, गुड़, चावल, आटा, मैदा व दाल का मुख्य तौर पर जी.एस.टी. माफ किया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह प्रयास केवल गुरुद्वारों के लंगर से जी.एस.टी. हटाने के लिए नहीं बल्कि मंदिरों, मस्जिदों व चर्चों जो भी धार्मिक संस्थाओं द्वारा मुफ्त भोजन की सेवा की जाती है, के लिए भी है अर्थात् सभी गुरुधामों को जी.एस.टी. के दायरे से बाहर रखा जाएगा।