जनता की आकांक्षाएं पूरा करना हमारा लक्ष्य : मोदी

नई दिल्ली, 17 जून (वार्ता): प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर दोहरे अंकों में पहुंचाने को एक बड़ी चुनौती करार देते हुए कहा कि जनता की आकांक्षाएं पूरा करना केंद्र और राज्य सरकारों का लक्ष्य होना चाहिए। मोदी ने राष्ट्रपति भवन के सांस्कृतिक भवन में नीति आयोग की संचालन परिषद् की चौथी बैठक के उद्घाटन सत्र में मुख्यमंत्रियों को संबोधित करते हुए कहा कि वित्त वर्ष 2017 - 18 की चौथी तिमाही में भारतीय अर्थव्यवस्था की  विकास दर 7.7 प्रतिशत दर्ज की गई है लेकिन अब इसे दोहरे अंकों तक ले जाना  एक बड़ी चुनौती है। इसके लिए महत्वपूर्ण कदम उठाने होंगे। प्रधानमंत्री ने वस्तु एवं सेवाकर को लागू करने का उल्लेख करते हुए कहा कि यह सहकारी संघवाद का बेहतरीन उदाहरण है। जटिल मुद्दों पर ‘टीम इंडिया’ की भावना परिलक्षित हुई है। मुख्ममंत्रियों की विकास में महत्वपूर्ण भूमिका है। स्वच्छ भारत अभियान, डिजीटल लेन देन और कौशल विकास जैसे मुद्दों पर बनी समिति और उपसमितियों के सुझावों को केंद्र सरकार और विभिन्न मंत्रालयों ने लागू किया है। संचालन परिषद् देश में ऐतिहासिक परिवर्तन लाने का एक सशक्त माध्यम बन सकती  है। मोदी ने कहा कि आयुष्मान भारत के अंतर्गत डेढ़ लाख स्वास्थ्य एवं आरोग्य केंद्र बनाए जा रहे हैं। लगभग 10 करोड़ परिवारों को प्रतिवर्ष पांच लाख रुपए का स्वास्थ्य बीमा दिया जाएगा। शिक्षा का दायरा बढ़ाने के लिए समग्र शिक्षा अभियान चलाया जाएगा। उन्होंने आर्थिक असमानता दूर करने पर बल देते हुए कहा कि मुद्रा योजना, जन धन योजना और स्टैंडअप इंडिया से वित्तीय समावेशन में भारी मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि मानव विकास की सभी पहुलओं और मानकों की ओर ध्यान देने की ज़रूरत है। मोदी ने कहा कि भारत में योग्यताओं, क्षमताओं और संसाधनों की कमी नहीं है। चालू वित्त वर्ष में राज्य सरकारों को केंद्र सरकार की ओर से 11 लाख करोड़ रुपए मिल रहे हैं। केंद्र ने इसमें पिछले वर्ष के मुकाबले लगभग छह लाख करोड़ रुपए का इजाफा किया है।  प्रधानमंत्री मोदी ने बैठक  में लोकसभा तथा विधानसभा चुनाव एक साथ करवाने के आग्रह को दोहराया और उन्होंने इस मुद्दे पर व्याप्क विचार-विमर्श की बात कही। प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में हो रही इस बैठक में केन्द्रीय मंत्री, राज्यों के मुख्यमंत्री, केन्द्र शासित प्रदेशों के उप राज्यपाल और वरिष्ठ अधिकारी हिस्सा ले रहे हैं। नीति आयोग की संचालन परिषद् राज्यों के साथ मिलकर राष्ट्रीय विकास की योजनाओं की प्राथमिकता और रणनीति पर साझा दृष्टिकोण बनाती है। इसकी बैठक में पिछले वर्षों में किये गये विकास कार्यों की समीक्षा के साथ भविष्य की विकास प्राथमिकताओं पर चर्चा की जाती है। उल्लेखनीय है कि इस बैठक में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल शामिल नहीं हुए।