अद्भुत है चूरू में गर्मी और सर्दी का अनोखा रिकार्ड

राजस्थान में चूरू ज़िला मौसम की दृष्टि से सबसे अलग, अनोखा और अद्भुत है। गर्मी में यहां पर सबसे अधिक गर्मी और सर्दी में सबसे ज्यादा ठंड पड़ती है। अपनी इसी खासियत की वजह से चूरू दुनियाभर में सुर्खियों में रहता है। इतना ही नहीं, दुनियाभर के लोग यह जानना चाहते हैं कि आखिर चूरू की धरती में ऐसा कुछ क्या है? जो यहां के मौसम को सबसे ज्यादा गर्म और ठंडा बना देती है। चूरू थार रेगिस्तान के पास स्थित है जो राजस्थान में एक अर्ध शुष्क जलवायु वाला ज़िला है। चूरू अपनी आज़ादी के लिए दुश्मनों पर चांदी के गोले वाले गड़, बड़ी बड़ी हवेलियों और सालासर बालाजी के साथ तेज़ गर्मी और कड़ाके की सर्दी के कारण देशभर में अपनी प्रसिद्धि लिए हुए है। यह मौसम सर्दियों का है। ठण्ड और माइनस तापमान ने चूरू को न्यूज़ चैनलों में जगह दिला रखी है। ऐसा कोई साल नहीं जाता जब चूरू की सर्दी की खबर से समाचार पत्र और टीवी रंगे हुए नहीं मिलते।  चूरू सबसे जल्द और ज्यादा गर्म होने वाला ज़िला है। इसके पीछे की वजह यह है कि यहां की मिट्टी के कण बेहद सूक्ष्म हैं, जिनकी हीट कैपेसिटी बहुत कम है। यही वजह है कि चूरू की मिट्टी अन्य जगहों की तुलना में जल्दी गर्म हो जाती है। विशेषज्ञों के मुताबिक हवा में ज्यादा शुष्कता और मिट्टी में गर्मी सोखने की कम क्षमता चूरू को सबसे ज्यादा ठंडी जगह बनाने के लिए जिम्मेदार हैं। साथ ही उत्तर भारत में पड़ने वाली बर्फ  और बर्फीली हवाएं भी ठंड बढ़ने का कारण होती हैं। 
चूरू को ‘थार रेगिस्तान का प्रवेश द्वार’ भी कहा जाता है। ऐसा नहीं है कि यहां सिर्फ  ठंड ही कहर बर्फाती है। चूरू गर्मी के दिनों में भी तपती भट्टी की तरह हो जाता है। अधिकतम तापमान कई बार 50 डिग्री सेल्सियस के भी पार चला जाता है। इसीलिए कहा जाता है चूरू गर्मियों में सर्वाधिक गर्म और सर्दियों में सर्वाधिक सर्दी वाले क्षेत्र के रूप में समूचे देश में विख्यात है। सर्दियों में छत पर रखी टंकियों और बर्तनों में रखे पानी में भी बर्फ  की परतें देखी जा सकती हैं। सर्दी का आलम यह है धूप के बावजूद हाथ-पांवों में गलन महसूस होती है।  


मो. -8949519406