देवदार के पेड़ हमेशा हरे क्यों रहते हैं ?  

‘दीदी, आपने पाइन या देवदार के पेड़ देखे हैं?’
‘हां, वह हमेशा हरेभरे रहते हैं।’
‘लेकिन कैसे? यही तो मैं जानना चाहता हूं।’
‘यह जानने के लिए तुम्हें पहले पेड़ों में पत्तियों की भूमिका को समझना होगा।’
‘जी, समझाएं।’
‘पेड़ों पर पत्तों के अनेक काम होते हैं। इनमें से एक है पेड़ों के लिए फूड बनाना। पत्ते हवा से कार्बन डाइऑक्साइड लेते हैं और मिट्टी से पानी व खनिज। पत्तों की क्लोरोफिल सूरज से ऊर्जा लेती है। धूप की ऊर्जा से क्लोरोफिल कार्बन डाइऑक्साइड और पानी को शुगर में बदल देती है। पत्तों में जो शुगर बनती है वह पेड़ का बुनियादी फूड होती है।’
‘लेकिन पत्ते तो बहुत अधिक पानी भी लेते हैं।’
‘हां। सैपवुड पाइपों से जो पानी फ्लो करता है उसका बहुत छोटा हिस्सा ही फूड बनाने के काम में आता है। पत्तों की सतह पर जो लाखों छोटे-छोटे छिद्र होते हैं, उनमें से अधिकतर पानी भाप बनकर उड़ जाता है। बहरहाल, जाड़ों में पेड़ों की वाटर सप्लाई कट ऑफ हो जाती है।’
‘क्यों?’
‘जब ज़मीन फ्रीज़ कर जाती है तो पेड़ हवा में ज्यादा पानी रिलीज़ नहीं कर पाते हैं। उन्हें फ्रोज़न ग्राउंड से जो पानी मिलता है, उससे अधिक की ज़रूरत होती है। इसलिए पेड़ अपने पत्ते गिराकर खुद को ‘लॉक अप’ कर लेते हैं ताकि पत्तों के ज़रिये वह अपना पानी न खोएं।’
‘तो पतझड़ इसलिए होता है।’
‘हां। लेकिन कुछ पेड़ों में अलग प्रकार की पत्तियां होती हैं। इनमें देवदार, फीर या सरो और हेमलाक शामिल हैं। इनकी पतली, सुईं जैसी पत्तियां होती हैं, जिन पर मोटी मोम जैसी कवरिंग होती है। इसलिए इन पेड़ों पर पत्तियां अनेक वर्षों तक रहती हैं। जब इनकी पत्तियां गिरती हैं तो उसी समय नई निकल आती हैं और पेड़ों की शाखें कभी भी नंगी नहीं होतीं।’
‘इसलिए इन पेड़ों को एवरग्रीन कहते हैं।’
‘वैसे कुछ चौड़ी पत्तियों वाले पेड़ भी हैं जो पूरे साल हरे रहते हैं। लाइव ओक व कैलिफोर्निया लॉरेल की चमड़े जैसी पत्तियां होती हैं जिससे जाड़ों में भी पेड़ अपने मोइस्चर या नमी को बनाये रखते हैं।’