सिद्ध मामले में कैप्टन कर रहे हैं दोहरी राजनीति : खैहरा

एस.ए.एस. नगर, 20 अप्रैल (ललिता जामवाल) : आम आदमी पार्टी के विधायक और विपक्षीय दल के नेता सुखपाल सिंह खैहरा ने आज यहां पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह पर नवजोत सिंह सिद्ध मामले में दोगली राजनीति करने का आरोप लगाते हुए कहा कि कैप्टन अंदर से तो चाहते हैं कि सिद्ध को सज़ा हो गए परंतु सार्वजनिक तौर पर कहते हैं कि वह अच्छे खिलाड़ी हैं और यहां तक की जजों को भी निर्णय सुनाते समय उनके द्वारा किए गए अच्छे कार्यों को ध्यान में रखने की बात कहते हैं परंतु असल कहानी यह है कि कैप्टन की पुरानी आदत है कि वो किसी भी नेता को अपने बराबर या अपने से ऊपर नहीं देख सकते। खैहरा आज पंचायत समिति और ज़िला परिषद् कर्मचारी एसोसिएशन द्वारा मांगों को लेकर विकास भवन मोहाली में दिए जा रहे धरने में एसोसिएशन की मांगों का समर्थन करने आए थे। इस मौके खैहरा ने पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह को आड़े हाथ लेते कहा कि उन्हें दु:ख है कि पंचायत समितियों और ज़िला परिषदों के सारे कर्मियों को 11-12 महीनों से वेतन नहीं मिला। खैहरा ने कहा कि कैप्टन को अपने एडवाइज़रों को देने के लिए तो करोड़ों रुपए हैं, अपने ओएसडीज़ को देने के लिए पैसे हैं और तो और सुप्रीम कोर्ट में उनके विरुद्ध किए प्राइवेट वकील को एक दिन के 25 लाख रुपए की फीस देने के लिए भी पैसे हैं परंतु जरूरतमंद मुलाज़िमों को देने के लिए पैसे नहीं हैं। उन्होंने कहा कि सबकी समझ से बाहर है कि सरकार कर क्या रही है। सरकार की पैंशन, प्रमोशन की कोई गारंटी नहीं है। इस दौरान उन्होंने कहा कि एसोसिएशन की मांगों में से एक मांग वह अगले सैशन पंजाब विधान सभा में जरूर उठाएंगे। उन्होंने कहा कि उन्हें बेहद दु:ख है कि सरकार पढ़े लिखे कर्मचारियों के लिए अन्याय और धोखा कर रही है। कैप्टन सरकार पर बरसते उन्होंने कहा कि सरकार बनने के केवल एक वर्ष के भीतर ही पंजाब का हर वर्ग चाहे वह अध्यापक हो, आंगनवाड़ी वर्कर हो, पंचायत समितियां या कोई भी वर्ग हो, अपने हकों के लिए सड़कों पर उतरा हुआ है क्योंकि कैप्टन के पास सरकार चलाने के लिए समय नहीं है। उन्होंने कहा कि उनकी ओर से इसका कड़ा विरोध किया जाएगा। इस दौरान एसोसिएशन के नेताओं अध्यक्ष पंचायत सचिव रविंदर सिंह, अध्यक्ष पंचायत अफसर सुरजीत सिंह, उपाध्यक्ष सुपरिटेंडेंट गुरप्रीत कौर औलख, पंचायत सचिव गुरजीवन सिंह ने सरकार को चेतावनी देते कहा कि अगर सरकार ने जल्द उनकी मागें न मानीं तो आने वाले समय में संघर्ष को और भी तीव्र किया जाएगा, जिसकी सारी जिम्मेदारी सरकार की होगी।