अकाल पुरख तों भुल्लां बख्शोण आए हां, गुरु रूप संगत तों माफी मंगदे हां : बादल

अमृतसर, 10 दिसम्बर (राजेश कुमार शर्मा) : सत्ता दौरान जाने-अनजाने में हुई गलतियों की माफी मांगने के लिए अकाली दल के संरक्षक व पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल तथा पार्टी प्रधान सुखबीर सिंह बादल द्वारा श्री अकाल तख्त साहिब में रखवाए श्री अखंड पाठ साहिब के आज भोग डाले गए। इस मौके पर उनके साथ हरसिमरत कौर बादल व समूची अकाली लीडरशिप ने अरदास दौरान गुरु चरणों में नतमस्तक होकर माफी मांगी। इस दौरान शिअद की कार्यकारिणी, कोर कमेटी और एसजीपीसी की कार्यकारिणी के सदस्य भी पाठ समाप्ति पर श्री अकाल तख्त पर मौजूद थे। सूचना केन्द्र में पत्रकारों से बातचीत करते हुए प्रकाश सिंह बादल ने हाथ जोड़कर कहा कि आज चाहे जिस मज़र्ी से माफी मंगवा लो, वह मांगने के लिए तैयार हैं। पत्रकारों द्वारा किए जा रहे सवालों पर स. बादल ने कहा कि उन्होंने यहां पूरी अकाली दल की टीम के साथ धार्मिक आस्था व श्रद्धा सहित सेवा की है और इस मामले को राजनीतिक तूल न दिया जाए। जब उनसे पूछा गया कि वे किस गलती की माफी मांगने यहां आए थे तो वे इस पर चुप्पी साधते हुए प्रैस वार्ता छोड़ चले गए। इस मौके पर शिरोमणि कमेटी प्रधान गोबिंद सिंह लौंगोवाल, पूर्व मंत्री विक्रम सिंह मजीठिया, डा. दलजीत सिंह चीमा, सांसद प्रेम सिंह चंदूमाजरा, बीबी जगीर कौर, बलविंदर सिंह भूंदड़, विरसा सिंह वल्टोहा, गुलजार सिंह रणीके, वीर सिंह लोपाके सहित अन्य अकाली नेता व वर्कर उपस्थित थे। बताते चले कि बादल, सुखबीर व हरसिमरत सहित समूची अकाली लीडरशिप के साथ 8 दिसम्बर को श्री हरिमंदिर साहिब के श्री अकाल तख्त साहिब में माफी मांगने पहुंचे थे। इस दौरान उन्होने जोड़ा घर में जूतों को साफ  करने व लंगर हाल में जूठे बर्त्तन भी साफ किए। उल्लेखनीय है कि कई घटनाओं को लेकर अकाली दल को काफी आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था। खासकर गुरुग्रंथ साहिब की बेअदबी से जुड़ी घटनाओं, 2015 में पुलिस फायरिंग डेरा सच्चा सौदा के गुरमीत राम रहीम सिंह को माफी दिए जाने को लेकर काफी विरोध का सामना करना पड़ा था। श्री अकाल तख्त साहिब के बाहर अकाली दल का विरोध : श्री अकाल तख्त साहिब के बाहर अकाली दल के संरक्षक प्रकाश सिंह बादल तथा अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल का सिख सद्भावना दल द्वारा विरोध किया गया। इस दौरान दल के कार्यकर्त्ताओं ने बादल विरोधी पोस्टर पकड़कर उन्हे पंथ विरोधी बताया। प्रदर्शनकारियों का नेतृत्व कर रहे भाई बलदेव सिंह वडाला ने कहा कि सत्ता के नशे में चूर होकर उन्होंने पंथ और सिख विरोधी कार्य किये जिनके गुनाह कभी माफ नहीं किए जा सकते।