ज़रूरी है कृषि विकास

भारत एक कृषि प्रधान देश है, और यहां की लगभग 70 प्रतिशत आबादी कृषि पर निर्भर करती है। फिर भी कृषि क्षेत्र में आज़ादी से आज तक ढंग से विकास नहीं हुआ। इसलिए हमारा देश विकसित नहीं हो पाया, आज भी हमारा देश विकासशील बना हुआ है। 
आज अगर हमें विकास करना है तो पहले कृषि क्षेत्र का विकास करना अनिवार्य है। इससे गरीबी और बेरोज़गारी दूर होगी और विभिन्न चीज़ों की मांग बढ़ेगी जिससे उद्योग आदि  का विकास होगा और तब हम धीरे-धीरे प्रगति पथ पर चल पड़ेंगे। उसके बाद हम बुलेट ट्रेन, स्मार्ट सिटी, एक्सप्रैस हाईवे, आदि की योजनाएं बना सकते हैं और उस पर अमल भी कर सकते हैं। आज कहीं भी अगर एक्सप्रैस हाइवे बनता है तो हमारे देश का कौन-सा गरीब उस पर चल सकता है? या चलता है? हमारे देश में लगभग 65 प्रतिशत लोग गरीबी रेखा से नीचे हैं और ढंग से इन्हें दो वक्त की रोटी नहीं मिलती है। जबकि हर भारतीय का अधिकार है कि उसे रोटी, कपड़ा, मकान, साफ पानी, बिजली, शिक्षा और चिकित्सा प्राप्त हो। लेकिन आज़ाद भारत में आज तक ऐसा हुआ नहीं है। 
हमारे देश की स्थिति ऐसी होती जा रही है कि अमीर और अमीर होते जा रहे हैं और गरीब फकीर बनते जा रहे हैं। हमारे देश में कई सरकारें गई, आई लेकिन कई राज्यों की स्थिति ऐसी बनी हुई है जहां हर वर्ष बाढ़ आती है तो कहीं सूखा पड़ता है और बाढ़ और सूखे का अंदाज़ा वही लगा सकता है जिसने उसे अपनी आंखों से देखा है या जिस पर इसका प्रभाव पड़ा है।
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