ढलती उम्र में भी रहें युवा व चुस्त 

उम्र बढ़ने के साथ अधिकांश व्यक्तियों की सक्रि यता में कमी आती है व शरीर की चयापचय क्रिया की दर कम होती जाती है, जिससे वजन बढ़ने की समस्या उत्पन्न होती है। उम्र बढ़ने के साथ हमारे शरीर में अनेक परिवर्तन होते हैं। धीरे-धीरे हमारी मांसपेशियों की शक्ति और लचीलेपन में कमी आने लगती है। हमारे हृदय और फेफड़ों की कार्यशीलता में कमी आती है। ये ऐसे शारीरिक परिवर्तन हैं जिनका सामना उम्र बढ़ने के साथ प्रत्येक व्यक्ति को करना पड़ता है। विशेषज्ञों के अनुसार इन परिवर्तनों को रोका तो नहीं जा सकता परन्तु उचित आहार व व्यायाम द्वारा इन्हें धीमा किया जा सकता है और व्यक्ति आयु बढ़ने के साथ अधिक युवा और चुस्त दिख सकता है। व्यायाम के महत्त्व को नकारा नहीं जा सकता। शरीर की हड्डियों को मज़बूत बनाने में हृदय और फेफड़ों की कार्यशीलता को बढ़ाने में शरीर को भयंकर रोगों से बचाने के लिए व्यायाम की अहम् भूमिका है।
आयु बढ़ने के साथ शरीर का वजन बढ़ने की समस्या का भी सामना करना पड़ता है इसलिए 30 वर्ष की उम्र के बाद व्यक्ति को अपने भोजन की ओर विशेष ध्यान देना चाहिए। अपने भोजन में से अधिक कैलोरीयुक्त पदार्थों को निकाल देना चाहिए। 
वसायुक्त खाद्य पदार्थ मक्खन, घी, मांस आदि के स्थान पर प्रोटीन और कार्बोहाइडे्रट युक्त खाद्य पदार्थों को लेना चाहिए। ये पदार्थ भोजन की पाचन क्रिया को तेज़ करते हैं और इनमें कैलोरी भी कम होती है। ये रक्त में कोलेस्ट्रोल सहित चरबी के स्तर को कम करते हैं। इसके अतिरिक्त दिन में एक साथ भोजन लेने की बजाय दिन में कई बार थोड़ा-थोड़ा भोजन लें। रात को हल्का व कम भोजन लें क्योंकि इस समय व्यक्ति कम सक्रिय होता है और कम कैलोरी खर्च होती है।  दिन में 8-10 गिलास पानी पीजिए। पानी न केवल शरीर में होने वाली चयापचय क्रि या में सहायक होता है बल्कि भूख पर नियंत्रण भी रखता है। इन उपायों के द्वारा आप बढ़ती उम्र में चुस्त, स्वस्थ व स्लिम बने रह सकते हैं। (स्वास्थ्य दर्पण)