खुशियों का ही नहीं, नौकरियों का भी हब है मैरिज इंडस्ट्री

भारत का शादी उद्योग यानी वेडिंग इंडस्ट्री न सिर्फ एक विशाल सांस्कृतिक क्षेत्र है अपितु रोज़गार के नजरिये से भी यह एक बहुत बड़े सेक्टर का रूप ले चुका है। 2024-25 में शादी उद्योग का टर्नओवर ऊपरी तौर पर 5 से 6 लाख करोड़ रुपये का था, लेकिन वास्तविक रूप से यह कितना बड़ा उद्योग है, इसकी कल्पना की जा सकती है कि हिंदुस्तान का कोई ऐसा गांव, कोई कस्बा, कोई छोटा शहर, हिल स्टेशन या बड़े शहर नहीं हैं, जहां कोई भी शादी का सीजन बिना किसी शादी के गुजरता हो। इससे अनुमान है कि शादी इंडस्ट्री व्यवस्थित रूप से जितनी दिखती है, उससे कई गुना ज्यादा बड़ी है। वैसे भी वित्तीय नजरिये से भारत का शादी उद्योग अमरीका और चीन के बाद दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा वेडिंग मार्किट है। 
लेकिन यहां भी वास्तविक और छुपे हुए बाज़ार का फर्क है। अमरीका और चीन का जहां शादी उद्योग पूरी तरह से व्यवस्थित और ओपन मार्किट है, वहीं भारत का शादी उद्योग जितना दिखता है, हकीकत में उससे काफी बड़ा है। यही नहीं दुनिया के चाहे किसी भी दूसरे उद्योग में निरंतर प्रगति की कोई आशा हो या न हो, शादी एकमात्र ऐसा उद्योग है, जहां निरंतर प्रगति होती है और भारत का शादी उद्योग वार्षिक 20 से 25 प्रतिशत की दर से बढ़ रहा है। अगर इसे रोज़गार के नजरिये से देखें तो हर गुजरते साल शादी इंडस्ट्री में पिछले साल के मुकाबले 35 से 40 हजार ज्यादा लोगों को रोज़गार मिलता है। जिस तरह से देश के अलग-अलग शहर और क्षेत्र, अलग-अलग उद्योगों का हब या सेंटर बनकर उभरे हैं, उसी तरह भारत में मैरिज इंडस्ट्री के सेंटर बनकर उदयपुर, जयपुर, गोवा और ऋषिकेश जैसे शहर उभरे हैं। वास्तव में ये डेस्टिनेशन वेडिंग सेंर्ट्स हैं, जिन्होंने शादी उद्योग को सिर्फ लोकप्रियता ही नहीं बल्कि अतिरिक्त रूप से ग्लैमर भी प्रदान किया है।
कॅरियर के लिहाज से मैरिज इंडस्ट्री में बहुत संभावनाएं हैं। क्योंकि अब शादी महज एक इवेंट नहीं बल्कि कम्प्लीट प्रोजेक्ट बन चुकी हैं। इसलिए इसमें करीब 100 तरह के कॅरियर और व्यवसायिक मौके अलग-अलग स्तरों पर उभरे हैं। जो कुछ खास मौके जिन पर सबकी नज़र जाती है, वो कुछ इस प्रकार से हैं-
* वेडिंग प्लानर/इवेंट को-ऑर्डिनेटर
दरअसल अब शादी सिर्फ एक ज़रूरी रस्मभर नहीं है, एक आनंद का अवसर भी है। इसलिए अब खाते पीते मध्य, वित्त वर्ग तक में भी थीम, लोकेशन, डेकोरेशन, फोटोग्राफी और लॉजिस्टिक शादी का हिस्सा हो चुकी है। इन सभी क्षेत्रों को कारोबार के रूप में अपनाने पर कोई भी हर साल औसतन 8 से 20 लाख रुपये आसानी से कमा लेता है। आय में यह जो फर्क है, वह अनुभव और विशेष संपर्क कला पर निर्भर है। अगर कोई डेस्टिनेशन वेडिंग का एक्सपर्ट है, तो विदेश या किसी खास शहर में शादी आयोजित कराने की विशेषज्ञता हेतु 10 से 25 लाख रुपये तक चार्ज करता है। इस तरह मैनेजमेंट और प्लानिंग क्षेत्र की शानदार इंडस्ट्री बनकर शादी उभरी है। 
* वेडिंग फोटोग्राफर और वीडियो ग्राफर
ड्रोन शूट, सिनेमेटिक वीडियो रील्स आदि के जरिये आज कोई भी वेडिंग फोटोग्राफर और वीडियो फोटोग्राफर 50 हजार रुपये से लेकर 5 लाख रुपये प्रति शादी चार्ज करता है। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि आज वेडिंग फोटोग्राफर और वीडियो ग्राफर किस स्तर की कमाई करते हैं। साथ ही वेडिंग ब्लॉगर और सोशल मीडिया मैनेजर भी अब शादियों को एक ब्रांड की तरह प्रमोशन करने और स्टोरी टेलिंग के लिए वार्षिक 4 से 10 लाख रुपये आसानी से कमा लेते हैं। 
* कैटरिंग सर्विसेज प्रोफेशनल
आज की तारीख में शादी में सिर्फ भूख खत्म करने के लिए ही खाना नहीं परोसा जाता बल्कि अब शादियों में स्टेट्स के बतौर खाना परोसा जाता है। इसलिए आज बड़े-बड़े कैटरिंग सर्विस प्रोफेशनल और क्युलिनरी शेफ हायर किये जाते हैं, जिन्हें प्रति शादी बहुत आसानी से 50 हजार से लेकर 2 लाख रुपये तक मिल जाते हैं और ये विशेषज्ञ अपने ठीक ठाक नेटवर्किंग के चलते हर साल 16 से 30 लाख रुपये आसानी से अपनी विशेषज्ञता का कमा लेते हैं। इसी तरह इस क्षेत्र में होटल और वैन्यू मैनेजर की नौकरी भी महत्वपूर्ण होकर उभरी है, जिसके लिए बहुत आसानी से 10 से 18 लाख रुपये प्रतिवर्ष कमाये जा सकते हैं। 
* एंकर/कोरियोग्राफी/डीजे/लाइव बैंड मैनेजर
इन सभी की आय भी प्रति इवेंट 25 हजार रुपये से लेकर 2 लाख रुपये तक होती है और इस तरह ये भी साल में 18 से 25 लाख रुपये तक की कमाई कर लेते हैं। साथ ही कस्टम इंविटेशन डिजाइन और गिफ्ट कंसलटेंट भी इस इंडस्ट्री के नये प्रोफेशनल बनकर उभरे हैं। अब सिर्फ गिफ्ट अपनी मर्जी से खरीदकर नहीं दिया जाता बल्कि उसमें एक पूरी सोच और विचार की मौजूदगी होती है और गिफ्ट के बारे में सोचने, विचारने वाला प्रोफेशनल हर साल इससे 8 से 12 लाख रुपये आसानी से कमा लेता है। यही हाल उन डिजाइनरों का है जो अलग-अलग शादियों के लिए नई-नई कल्पना के इंविटेशन डिजाइन करते हैं। ये भी हर साल 6 से 10 लाख रुपये कमा लेते हैं। 
* मैरिज इंडस्ट्री के लिए विभिन्न कोर्स 
अब मैरिज उद्योग ऐसा ऐरा गैरा उद्योग नहीं है कि कोई भी बिना ट्रेनिंग लिए प्रोफेशनल इस इंडस्ट्री का हिस्सा बन जाए। एक जमाने में लोग शादी ब्याह में हिस्सेदारी करते-करते अनुभव के जरिये इसके जानकार बनते थे, लेकिन अब देशभर में ऐसे प्रबंधन संस्थान खुल चुके हैं, जो इस इंडस्ट्री के लिए ज़रूरी प्रोफेशनल्स को टे्रनिंग देते हैं। ऐसे कुछ महत्वपूर्ण संस्थान देश के इन महत्वपूर्ण शहरों में उपलब्ध है।
-इमेज रिफ्लेक्शन सेंटर 

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