बजट सत्र
आम आदमी पार्टी की सरकार ने पंजाब में अपने कार्यकाल के 3 वर्ष पूरे कर लिए हैं। इसलिए पंजाब विधानसभा का 21 से 28 मार्च तक होने वाला बजट सत्र विशेष रूप से महत्त्वपूर्ण है। इस बजट सत्र में 26 मार्च को प्रदेश के वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा बजट पेश करेंगे। आम आदमी पार्टी की सरकार का यह चौथा बजट होगा। यहां यह भी वर्णनीय है कि विगत वर्ष का बजट सत्र 5 मार्च से 15 मार्च तक हुआ था परन्तु इस बार के बजट सत्र का समय सिर्फ एक सप्ताह का है। आम आदमी पार्टी की सरकार द्वारा बजट सत्र छोटा रखने की कुछ विपक्षी नेताओं ने आलोचना भी की है। उनका कहना है कि जब आम आदमी पार्टी विपक्ष में थी तो वह अक्सर यह मांग उठाती थी कि प्रदेश के ज्वलंत मुद्दों पर खुल कर विचार-चर्चा करने के लिए विधानसभा के सत्र लम्बे होने चाहिएं। नि:संदेह हम भी यह महसूस करते हैं कि प्रदेश को इस समय बहुत से जटिल मामलों का सामना करना पड़ रहा है, जिन पर विचार करने के लिए विधानसभा के सत्र लम्बे होने चाहिएं। सत्तारूढ़ पार्टियों को मात्र रस्म पूरी करने के लिए ही विधानसभा के सत्र नहीं बुलाने चाहिएं, अपितु उन्हें प्रदेश के मुद्दों पर खुली विचार-चर्चा करके सार्थक बनाया जाना चाहिए। यदि विधानसभा में प्रदेश के मामलों पर खुलकर विचार-चर्चा होगी और सरकार विपक्ष की ओर से पेश किए गए विचारों को गम्भीरता से लेगी तभी जटिल मामलों के हल ढूंढे जा सकेंगे।
क्योंकि विधानसभा का होने वाला यह सत्र बजट सत्र है, इसलिए यह सवाल भी स्वाभाविक रूप से प्रत्येक के मन में उठता है कि पेश किए जाने वाले बजट की रूप-रेखा क्या हो? किन क्षेत्रों में प्रदेश सरकार द्वारा अधिक फंड रखे जाएं, ताकि विकास की गति को तेज़ किया जा सके और सही दिशा में प्रदेश आगे बढ़ सके। इस सन्दर्भ में हमारी यह राय है कि किसी भी सरकार को ज्यादा प्राथमिकता स्वास्थ्य, शिक्षा और रोज़गार के अधिक अवसर प्रदान करने को देनी चाहिए। अभिप्राय अपने प्रदेश के लोगों के लिए सस्ता और स्तरीय उपचार उपलब्ध करवा कर कोई भी प्रदेश सरकार उनकी बड़ी सहायता कर सकती है, क्योंकि ़गैर-सरकारी अस्पतालों से महंगा उपचार करवाना आम ़गरीब लोगों की पहुंच में नहीं होता। इसी तरह प्रदेश के युवाओं को उचित दरों पर स्तरीय शिक्षा देकर प्रदेश सरकार उन्हें देश-विदेश में रोज़गार हासिल करने में सक्षम बना सकती है और उन्हें बेहतर इन्सान बनाने में भी शिक्षा बड़ी भूमिका अदा कर सकती है। निजी शिक्षण संस्थाओं से महंगी शिक्षा हासिल करना भी ज्यादातर आम विद्यार्थियों की पहुंच में नहीं होता। उपरोक्त इन क्षेत्रों को प्राथमिकता देना इसलिए भी ज़रूरी है, क्योंकि आम आदमी पार्टी हमेशा इन क्षेत्रों के विकास पर विशेष ज़ोर देती रही है। इसके साथ-साथ यह भी बेहद ज़रूरी है कि प्रदेश के युवाओं के लिए अधिक से अधिक रोज़गार के अवसर पैदा किए जाएं, क्योंकि पंजाब के युवाओं में बेरोज़गारी की दर राष्ट्रीय औसत से कहीं अधिक है। बेरोज़गारी के कारण ही पिछले कुछ दशकों से प्रत्येक वैध-अवैध ढंग से युवक विदेशों में जाते रहे हैं परन्तु अब जो अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर विकसित देशों के हालात बने हुए हैं, उनमें प्रदेश के युवाओं को विदेशों में शिक्षा तथा रोज़गार प्राप्त करने के संबंध में बड़ी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। इसलिए प्रदेश सरकार का यह फज़र् बन जाता है कि वह प्रदेश में अधिक से अधिक पूंजी निवेश करवा कर उद्योग, विशेषकर कृषि आधारित उद्योग स्थापित करवा कर रोज़गार के अवसर बढ़ाने की ओर विशेष ध्यान दे। इससे कृषि को दीर्घकालिक बनाने में भी मदद मिलेगी और रोज़गार के अवसर भी बढ़ेंगे। इसके साथ ही यह भी बेहद ज़रूरी है कि अलग-अलग सरकारी विभागों में जो पद रिक्त पड़े हैं, उन्हें समयबद्ध योजना बना कर भरा जाए। इससे अलग-अलग क्षेत्रों में जहां युवाओं को रोज़गार मिलेगा, वहीं सरकारी विभाग निम्न स्तर पर लोगों को बेहतर सेवाएं देने में भी समर्थ होंगे। चाहे शिक्षा का क्षेत्र हो, चाहे स्वास्थ्य सेवाओं का हो, चाहे राजस्व विभाग का क्षेत्र हो, प्रत्येक क्षेत्र में ही व्यापक स्तर पर पद रिक्त पड़े हैं, जिन्हें भरने की ज़रूरत है। इसके साथ पंजाब को पंजाब बनाए रखने तथा यहां शिक्षा, प्रशासन एवं न्याय के क्षेत्र में पंजाबी भाषा को उसका बनता स्थान दिलाने तथा पंजाबी का प्रचार एवं प्रसार करने वाली सरकारी एवं ़गैर-सरकारी संस्थाओं को प्रोत्साहित करने के लिए भी सरकार द्वारा आवश्यक फंड रखे जाने चाहिएं। इन क्षेत्रों के अतिरिक्त भू-जल के दिन-प्रतिदिन गिरते स्तर तथा बढ़ रहे प्रदूषण आदि मामले भी सरकार का विशेष ध्यान आकर्षित करते हैं, इस संबंध में भी आवश्यक फंड रख कर इन मामलों के समाधान के लिए कोई योजनाबंदी की जानी चाहिए।
चाहे कोई एक बजट दशकों से लटकते आ रहे उपरोक्त मामलों का समाधान नहीं कर सकता, परन्तु फिर भी यदि अलग-अलग अहम क्षेत्रों को फंडों के आवंटन में उचित प्राथमिकता दी जाती है तो आवश्यक रूप में ऐसे बजट को सार्थक कहा जा सकता है और ऐसे दृष्टिकोण से अपने वित्तीय स्रोतों का भी उचित इस्तेमाल किया जा सकता है। आशा करते हैं कि 26 मार्च को प्रदेश के वित्त मंत्री द्वारा पेश किया जाने वाला बजट लोगों की इच्छाओं पर पूरा उतर सकेगा।