यदि बच्चे जुड़वां हों
जुड़वां बच्चे पूर्ण विकास व पूरे समय पर जन्म लेने के बावजूद सामान्य बच्चे की अपेक्षा कमजोर होते हैं, अत: उनके पालन-पोषण में वही सावधानियां अपेक्षित हैं जो एक अपरिपक्व एवं कमजोर बच्चे के लिए ज़रूरी हैं।
= जुड़वां बच्चों में दोनों की समान रूप से देखभाल करें। हो सकता है दोनों में से एक बच्चा अपेक्षाकृत कुछ कमजोर हो या उसे आपकी ज्यादा ज़रूरत हो।
= जुड़वां बच्चों को नहलाते समय, सुलाते समय, दूध पिलाते समय या प्यार करते समय समान नज़र से देखें। एक को अधिक प्राथमिकता न दें।
= उन्हें हर समय एक जैसे कपड़े न पहनायें।
= उनके नाम भी प्राय: एक जैसे न रखें।
= उन्हें दो व्यक्तित्व के रूप में पहचानें।
= उनकी आदत, रूचि व मानसिक विकास भिन्न हो सकते हैं, अत: एक-दूसरे से तुलना न करें।
= एक-दूसरे से तुलना या एक बच्चे की रूचि या आदत को आधार बनाकर पालन-पोषण दूसरे के विकास में बाधक हो सकता है।
= प्राय: हमशक्ल जुड़वां बच्चों में बहुत आत्मीयता स्थापित हो जाती है, एक दूसरे के बिना वे स्वयं को अकेला व असुरक्षित समझने लगते हैं। उन्हें जबरदस्ती अलग करना उचित नहीं।
= धीरे-धीरे उन्हें अलग रहने व दूसरे बच्चों के साथ घुलने मिलने को प्रोत्साहन दें। (उर्वशी)