आओ हासिये

एक दार्शनिक महोदय के छाते में छेद था। यह देखकर उनके घर आई साली ने कहा- ‘जीजा जी! आपके छाते में तो छेद है’ इस पर दार्शनिक महोदय बोले- अरे हां पता है साली जी, यह छेद तो मैंने ही किया है...
‘क्यों किया?’ साली ने पूछा 
जवाब ंिमला ताकि जब बारिश बंद हो, तो मुझे पता चल जाए  .........................
 एक कंजूस एक दिन जंगल से गुजर रहा था कि अचानक उसके पांव में कांटा चुभ गया। वह दर्द भरे स्वर में कराह कर बोला  ओह! शुक्र है आज नए जूते पहनकर नहीं आया वरना जूते में छेद हो जाता।
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 एक वकील से एक फकीर ने पैसा मांगा तो वकील बोला-‘मांगना अच्छा काम नहीं।’
‘मैंने आपसे पैसा मांगा है, सलाह नहीं’। फकीर ने अकड़कर जवाब दिया।
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एक दिन सुरेश ने अपनी भाभी को खूब मारा। उसके चिल्लाने की आवाज सुन कर पड़ोसी देखने आ गए और सुरेश से पूछने लगे कि क्या बात हो गयी, इतना क्यों मार रहे हो अपनी भाभी को।
सुरेश  गुस्से में-  भाईसाहब ये हमारी पीठ पीछे छुप-छुप के रोज मेरे सभी दोस्तों से बाते करती है।
पडोसी- तुम्हे कैसे पता लगा।
सुरेश - अरे मैं जब भी अपने किसी दोस्त से पूछता हूँ कि वो फोन पर किस बात कर रहे ह, वो यही कहता है तुम्हारी भाभी से।
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- टीचर - ऐसी कौन-सी चीज है जिसे हम ना देख सकते हैं,  ना महसूस कर सकते हैं फि र भी उसके बिना जी नहीं सकते
बंटी - हवा।
टीचर -  बहुत अच्छे। 
मोनू - नहीं टीचर,  इसके अलावा भी कुछ है।
टीचर - अच्छा तो तुम ही बता दो वह क्या है 
मोनू - इंटरनेट कनेक्शन!
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- पप्पू- गुल्लू को गुस्से में बोल रहा था
पप्पू-  यार मैंने जब तुम्हें खत लिखा था कि मेरी शादी में जरूर आना, तो तुम आए क्यूँ नहीं
गुल्लू- ओह यार!  पर मुझे खत मिला ही नहीं
पप्पू- मैंने लिखा तो था कि खत मिले ना मिले शादी में जरूर आना
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- चीन मे बच्चे का नाम रखने के लिए 
स्टील का बर्तन जमीन पर पटका जाता है
फि ़र उसमे से जो आवाज आती है 
वो नाम रखा जाता है 
जैसे .... टंग, टाँग, टुन.......*