मुख्यमंत्री के चुनाव दौरे दौरान सुरक्षा प्रबंधों की खुली पोल को उच्च सुरक्षा एजैंसियां देख रही हैं गंभीरता के साथ
जगराओं, 16 अक्तूबर (जोगिन्द्र सिंह, विनोद कुमार) : पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरेन्द्र सिंह के चुनाव दौरान समय सुरक्षा प्रबंधों की खुली पोल की आज दूसरे दिन भी चारों और चर्चा हो रही है, बल्कि दाखा क्षेत्र में मुख्यमंत्री के दौरे समय यहां सुरक्षा के लिए चार ज़िलों की पुलिस तैनात की गई थी, पर इसके बावजूद जहां मुख्यमंत्री की दस्तार को लगे झटके पर और भी कई स्थानों पर मुख्यमंत्री के प्रचार काफिले में पड़े विघ्न को उच्च सुरक्षा एजैंसियां गंभीरता के साथ ले रही हैं, उधर इन घटनाओं की सुरक्षा प्रबंधों की नाकामी जैसे भी देखा जा रहा है।
वर्णनीय है कि मुख्यमंत्री के दौरे समय प्रोटोकाल मुताबिक जिस रास्ते से मुख्यमंत्री ने जाना हो, उस रास्ते को सुरक्षा प्रबंध पूरी तरह मुकम्मल करना सुरक्षा फोर्स की जिम्मेदारी होती है, पर इस दौरे दौरान जब मुख्यमंत्री बख्तरबंद गाड़ी के ऊपर बैठकर प्रचार कर रहे थे तो रास्ते में लटकती बिजली की तारें भी कई स्थानों पर उसी तरह ही लटक रहीं थी और कई स्थानों पर राजनीतिक पार्टी की झंडियां वाली रस्सियां भी उसी तरह रोड को पार करती बीच में लटक रहीं थी, जिनमें एक स्थान पर रस्सी फस जाने के कारण मुख्यमंत्री की दस्तार उतर जाने की घटना भी हुई। इस समय मुख्यमंत्री के साथ गाड़ी की छत्त पर सवार लोकसभा सदस्य रवनीत सिंह बिट्टू भी उच्च सुरक्षा से लैस थे, पर इन दोनों नेताओं का काफिला चुनाव प्रचार के लिए जा रहा था तो एक स्थान पर रास्ते में खराब खड़े ट्रैक्टर ने इस काफिल में विघ्न डाला और गांव चक्क कलां नज़दीक मुख्यमंत्री और लोकसभा सदस्य खिलाफ प्रदर्शन करते लोक इन्साफ पार्टी के वर्कर भी मुख्यमंत्री की गाड़ी के नज़दीक तक गए, जिसकी भी एक वीडियो वायरल हुई है। देखा जाये तो दाखा क्षेत्र से मुख्यमंत्री के ओ.एस.डी. कैप्टन मंदीप संधू के चुनाव लड़ने पर इस क्षेत्र में हर रोज अलग-अलग मंत्रियों के विधायकों के गांव-गांव दौरे हो रहे हैं और देर रात तक चुनाव प्रचार चलने के कारण पुलिस के जवान दिनरात ही ड्यूटी कर रहे हैं। मुख्यमंत्री के दौरे समय सुरक्षा बारे पुलिस ज़िला लुधियाना (देहाती) के एस.पी. (डी.) राजबीर सिंह के साथ बातचीत करने पर उन्होंने यह कह कर पल्ला झाड़ लिया कि मुख्यमंत्री के दौरे समय उनकी ड्यूटी तो मुल्लांर थी, जहां सब ठीक-ठाक था। पर जब उनका ध्यान यह घटना पुलिस ज़िला लुधियाना (देहाती) में ही होने बारे बात की तो उन्होंने कहा कि दौरे समय यहां चार ज़िलों की पुलिस तैनात थी, जिस कारण उस क्षेत्र के अधिकारी की जिम्मेवारी बनती है कि वह रास्ते का ध्यान रखें।